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मुख्यमंत्री ने बाढ़ सुरक्षा कार्यों के लिए पुख्ता योजना की सिफारिश की

•⁠ ⁠बाढ़ सुरक्षा प्रबंधों के लिए लगभग 120 करोड़ रुपए की दी मंजूरी

चंडीगढ़, 5 जून
पंजाब के मुख्य मंत्री भगवंत सिंह मान ने आज पूरे पंजाब में बाढ़ सुरक्षा के लिए मास्टर प्लान को प्रभावी ढंग से लागू करने और पुख्ता योजनाबंदी की आवश्यकता पर जोर दिया।

चल रहे बाढ़ सुरक्षा कार्यों की प्रगति की निगरानी के लिए अपनी सरकारी आवास पर उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता करते हुए मुख्य मंत्री ने कहा कि मास्टर प्लान न केवल फंडों के तर्कसंगत उपयोग को सुनिश्चित करेगा, बल्कि बाढ़ पीड़ितों को फसलों और संपत्ति के नुकसान के लिए मुआवजा देने पर खर्च होने वाले करोड़ों रुपए की बचत में भी मदद करेगा। उन्होंने जोर देकर कहा कि नालों और नदियों के प्रबंधन की योजना सिंचाई विभाग के इंजीनियरों के साथ सीधे समन्वय करके बनाई जानी चाहिए। इससे बाढ़ सुरक्षा बुनियादी ढांचे की नियमित सफाई और मजबूती सुनिश्चित की जा सकेगी। भगवंत मान ने कहा कि ये प्रबंध मानसून के दौरान बाढ़ के कारण होने वाली तबाही से राज्यवासियों को बचाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे।

मुख्य मंत्री ने अधिकारियों को मास्टर प्लान के आधार पर व्यापक खाका तैयार करने के निर्देश दिए ताकि बाढ़ सुरक्षा कार्यों को बारिश के मौसम से ठीक पहले पारंपरिक दृष्टिकोण की बजाय योजनाबद्ध तरीके से लागू किया जा सके। उन्होंने इन प्रयासों को नियमित आधार पर जारी रखने के लिए वार्षिक बजट में विशेष आवंटन की महत्ता पर भी जोर दिया। इसके अलावा, भगवंत सिंह मान ने अधिकारियों को सिंचाई विभाग के ड्रेनेज और नहरी विंग में प्राथमिकता वाले कार्यों की पहचान कर मुख्य इंजीनियरों के साथ सलाह-मशविरा करके कार्य योजना तैयार करने के निर्देश दिए।

एक बड़ा कदम उठाते हुए मुख्य मंत्री ने पंजाब के सभी 22 जिलों में बाढ़ सुरक्षा कार्यों और नालों की सफाई के लिए लगभग 120 करोड़ रुपए को मंजूरी दी। उन्होंने डिप्टी कमिश्नरों को निर्देश दिए कि ये प्रोजेक्ट मानसून की शुरुआत से पहले पूरे किए जाएं और इन्हें पूरा करने की समय-सीमा 30 जून तक निर्धारित की जाए। भगवंत सिंह मान ने स्पष्ट किया कि सिंचाई विभाग का कोई भी अधिकारी या कर्मचारी इन कार्यों को पूरा करने में लापरवाही के लिए व्यक्तिगत रूप से जवाबदेह होगा।

मुख्य मंत्री ने जोर देकर कहा कि इन फंडों का प्रभावी ढंग से उपयोग किया जाना चाहिए और प्रत्येक जिले में बाढ़ की दृष्टि से संवेदनशील क्षेत्रों पर विशेष ध्यान दिया जाना चाहिए। उन्होंने अधिकारियों को यह भी निर्देश दिए कि वे पिछले साल बाढ़ का सामना करने वाले नए प्रभावित क्षेत्रों, खासकर सड़क निर्माण के कारण आई रुकावटों का अच्छी तरह निरीक्षण करें और समस्याओं का समाधान करें। भगवंत सिंह मान ने कहा कि मानसून के दौरान बाढ़ को रोकना और राज्य के किसी भी हिस्से को नुकसान न होने देना सुनिश्चित करना प्राथमिकता है।

इस अवसर पर कैबिनेट मंत्री हरदीप सिंह मुंडियां और बरिंदर गोयल, मुख्य सचिव के.ए.पी. सिन्हा और अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।

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